ढाका. क्रिकेट के विश्व कप महासंग्राम के लिए रणभेरी बज चुकी है और गत तीन बार के चैंपियन आस्ट्रेलिया, सहमेजबान भारत और श्रीलंका तथा खिताब की प्रबल दावेदार दक्षिण अफ्रीका सहित 14 सेनाएं विजेता ट्राफी उठाने के लिए कमर कस चुकी हैं।
विश्व कप शनिवार को भारत और बंगलादेश के बीच ढाका में उदटन मैच के साथ शुरू हो जाएगा। उससे एक सप्ताह पहले तक सभी टीमों ने अभ्यास मैचों में अपने हथियारों को पूरी तरह जांच परख लिया है। आस्ट्रेलिया, भारत, दक्षिण अफ्रीका और श्रीलंका खिताब के प्रबल दावेदार माने जा रहे हैं लेकिन विजेता के बारे में कोई भी भविष्यवाणी करना इस बार खतरे से खाली नहीं है।
अब अपराजेय नहीं कंगारू
चार बार की चैंपियन आस्ट्रेलियाई टीम अब ‘अपराजेय’ नहीं रही और उसकी आभा मद्धिम पड़ चुकी है। इस टीम ने विश्वकप के पिछले दो संस्करणों में लगातार 11 मैच जीते थे। लेकिन वेस्टइंडीज में 2007 में हुए विश्व कप में आस्ट्रेलिया की खिताबी जीत के बाद कई टीमें अपने प्रदर्शन से कंगारू टीम को पछाड़ चुकी हैं। इंग्लैंड को घरेलू जमीन पर 6-1 से रौंदने के बाद विश्व कप के लिए पहुंची आस्ट्रेलियाई टीम को दोनों अभ्यास मैचों में शिकस्त का सामना करना पड़ा। पहले मैच में भारत ने आस्ट्रेलिया को 38 रन से हराया वहीं दूसरे मैच में उसे दक्षिण अफ्रीका के हाथों सात विकेट से शिकस्त झेलनी पड़ी। आस्ट्रेलियाई कप्तान रिकी पोंटिंग के लिए खेल के हर विभाग में मुश्किलें दिखाई दे रही हैं। अभ्यास मैचों में उनके बल्लेबाज जहां बड़ा स्कोर बनाने में नाकाम रहे वहीं गेंदबाज भी अपेक्षा के अनुरूप प्रदर्शन नहीं कर पाए। आस्ट्रेलिया के इस प्रदर्शन को देखकर कहा जा सकता है कि अब कोई चमत्कार ही इस टीम का खिताब बचा सकता है। 28 वर्ष के लंबे अंतराल के बाद खिताब पर कब्जा करने को बेकरार टीम इंडिया ने दोनों अभ्यास मैच जीतकर अपने इरादे जतला दिए हैं। टीम ने आस्ट्रेलिया को जहां 38 रन से शिकस्त दी वहीं न्यूजीलैंड को 117 रन से हराया।
टीम इंडिया का प्रचंड प्रदर्शन
महेन्द्र सिंह धोनी की अगुवाई में टीम का प्रदर्शन जबर्दस्त रहा है और यही प्रदर्शन टीम को विश्व कप में खिताब का प्रबल दावेदार बनाती है। टीम इंडिया के सभी बल्लेबाज जबर्दस्त फार्म में हैं और गेंदबाज भी अपेक्षाओं पर खरे उतरे हैं। बेंगलुरु में आस्ट्रेलिया के खिलाफ अभ्यास मैच में भारतीय गेंदबाजों ने जिस तरह 214 रन के मामूली स्कोर का बचाव किया वह काबिलेतारीफ है। न्यूजीलैंड के खिलाफ धोनी और मध्यक्रम के बल्लेबाजों ने अपने बल्ले की धार को पैना करके विश्वकप के लिए कमर कस ली है।
‘चोकर’ छवि तोड़ने बेकरार प्रोटीज
ग्रीम स्मिथ की अगुवाई में लगातार अच्छा प्रदर्शन कर रहे दक्षिण अफ्रीका भी इस बार ‘चोकर्स’ की अपनी छवि तोड़कर विश्व कप जीतने को बेकरार है। टीम ने दोनों अभ्यास मैचों में जीत दर्ज करके विश्व कप जीतने की अपनी संभावनाओं को पुख्ता किया है। दक्षिण अफ्रीका ने विश्व कप में उतरने से पहले अपनी जमीन पर टीम इंडिया को 3-2 से मात दी थी। टीम के कई खिलाड़ियों ने इस बात को स्वीकार किया है कि विश्व कप से ऐन पहले मिली इस जीत से टीम का मनोबल बढ़ा है। अभ्यास मैच में दक्षिण अफ्रीका ने आस्ट्रेलिया को सात विकेट से रौंदकर यह जतला दिया है कि विश्वकप में उसकी दावेदारी इस बार सबसे ज्यादा गंभीर है।
सिंहली टीम भी तैयार
सहमेजबान श्रीलंका 1996 की कामयाबी को दोहराने के लिए बेताब है। श्रीलंकाई टीम ने अर्जुन रणतुंगा की अगुवाई में 15 वर्ष पहले भारतीय उपमहाद्वीप में हुए विश्वकप में खिताब पर कब्जा किया था। टीम के पास कुमार संगकारा, माहेला जयवर्धने, उपुल तरंगा और तिलकरत्ने दिलशान जैसे विस्फोटक बल्लेबाज हैं तो वहीं लसित मलिंगा, नुवान कुलशेखरा, मुथैया मुरलीधरन और अजंता मेंडिस के रूप में जबर्दस्त गेंदबाज हैं। विश्व रिकार्डधारी लेग स्पिनर मुरलीधरन का यह आखिरी विश्वकप है। श्रीलंकाई टीम अपने इस दिग्गज स्पिनर को विश्वकप का तोहफा देने के लिए पूरी तरह तैयार हो चुकी है। दिलशान का ‘दिलस्कूप’ शाट इस टूर्नामेंट में सभी के आकर्षण का केन्द्र रहेगा।
‘छुपारुस्तम’ हो सकता है पाक
पाकिस्तान को इस विश्व कप में ‘छुपे रस्तम’ के तौर पर देखा जा रहा है। पाकिस्तान के पास ऐसे प्रतिभाशाली खिलाड़ी हैं जो अपना दिन होने पर किसी भी टीम पर भारी पड सकते हैं। टीम को अगर किसी एक चीज की जरूरत है तो वह है एकजुट होने की। विश्वकप से पहले पाकिस्तान ने न्यूजीलैंड को उसी की जमीन पर हराया था जिसकी बदौलत शाहिद आफरीदी को विश्वकप के लिए टीम की कप्तानी मिली थी। विश्व कप शुरू होने से पहले आस्ट्रेलिया के हाथों 1-6 से पिटी इंग्लैंड की टीम में भी कुछ विश्वस्तरीय खिलाड़ी हैं।
संकट में इंग्लैंड
क्रिकेट का जन्मदाता इंग्लैंड अभी तक एकदिवसीय विश्वकप के खिताब से महरूम है। अब देखना है कि एंड्रयू स्ट्रास इंग्लैंड के इस खिताबी सूखे को खत्म कर पाते हैं या नहीं। मध्यक्रम के धाकड बल्लेबाज इयोन मोर्गन चोट के कारण विश्व कप से बाहर हो चुके हैं जबकि टीम के कई अन्य खिलाडी चोटों से जूझ रहे हैं।
न्यूजीलैंड को विश्वकप शुरू होने से पहले भारतीय उपमहाद्वीप की चारों टीमों के खिलाफ शिकस्त का सामना करना पड़ा था। लेकिन डेनियल वेट्टोरी जैसे चमत्कारिक गेंदबाज और ब्रैंडन मैकुलम जैसे विध्वंसक बल्लेबाज की मौजूदगी में यह टीम कुछ उलटफेर कर सकती है। सहमेजबान बांग्लादेश का इतिहास उलटफेर करने का रहा है और इस बार भी टीम उसी प्रदर्शन को दोहराने को बेकरार है। बंगलादेश ने पिछले विश्वकप में भारत को हराकर तहलका मचाया था और इस बार भी उसका पहला मुकाबला ‘टीम इंडिया’ से ही है। पिछले कुछ समय से टीम के प्रदर्शन को देखते हुए बांग्लादेश को हल्के में लेने की भूल नहीं की जा सकती है। कुल मिलाकर यह कहा जा सकता है कि यह अब तक का सबसे खुला विश्वकप है। यानि किसी एक टीम को खिताब का प्रबल दावेदार नहीं माना जा सकता है और किसी भी टीम को दो अप्रैल को विजेता ट्राफी का गौरव हासिल हो सकता है।
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